Direction: निम्नलिखित प्रश्नों में दिए गए अनुच्छेदों के पहले और अंतिम वाक्यों में क्रमशः (1) और (6) की संज्ञा दी गई है। इसके मध्यवर्ती वाक्यों को चार भागों में बांटकर (य),(र),(ल),(व) की संज्ञा दी गई है। ये चारों वाक्य व्यवस्थित क्रम में नहीं है। इन्हें ध्यान से पढ़कर दिए गए विकल्पों में से उचित कदम चुनिए, जिससे सही अनुच्छेद का निर्माण हो।
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(1) क्रोध मनुष्य के शरीर को भयानक कर देता है।
(य) क्रोध न तो मनुष्यता का चिह्न है और न स्वभाव के सरल होने का ही।
(र) शब्द को कुत्सित कर देता है, चेहरे को आग के समान लाल कर देता है। ,आंखों को विकराल कर देता है।
(ल) यह निरोग की अपेक्षा रोगी को, युवक की अपेक्षा वृद्ध को और भाग्यवान की अपेक्षा अभागे को अधिक आता है।
(व) वह भीरुता अथवा मन की क्षुद्रता का चिन्ह है।
(6) जो क्षुद्र है, उन्हीं को क्रोध शोभा देता है।
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- य र ल व
- य ल व र
- र य व ल
- व य र ल
- य र ल व
सही विकल्प: C
(1) क्रोध मनुष्य के शरीर को भयानक कर देता है। (र) शब्द को कुत्सित कर देता है, चेहरे को आग के समान लाल कर देता है। ,आंखों को विकराल कर देता है। (य) क्रोध न तो मनुष्यता का चिह्न है और न स्वभाव के सरल होने का ही। (व) वह भीरुता अथवा मन की क्षुद्रता का चिन्ह है। (ल) यह निरोग की अपेक्षा रोगी को, युवक की अपेक्षा वृद्ध को और भाग्यवान की अपेक्षा अभागे को अधिक आता है। (6) जो क्षुद्र है, उन्हीं को क्रोध शोभा देता है।